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बदरी- केदार मंदिर समिति का घपला : गृह विभाग ने दबा दी जांच रिपोर्ट

 

देहरादून, 25 सितम्बर। देवभूमि भैरव वाहिनी के केंद्रीय अध्यक्ष संदीप खत्री ने बदरीनाथ – केदारनाथ मंदिर समिति के एक सदस्य के विरुद्ध वित्तीय अनियमितताओं की जांच रिपोर्ट पर तत्काल कार्रवाई की मांग की है। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी की सहमति के बाद गृह विभाग द्वारा की गयी जांच रिपोर्ट पर लम्बे समय से कोई कार्रवाई नहीं होने से शासन की मंशा पर सवाल उठ रहे हैं।

खत्री ने कहा कि उनके द्वारा फरवरी 2023 में सीएम हेल्पलाइन पोर्टल पर मंदिर समिति के सदस्य आशुतोष डिमरी पर मंदिर निधि की हानि व दुरूपयोग करने का आरोप लगाते हुए इसकी जांच की मांग की गयी थी। उनके द्वारा सूचना के अधिकार के तहत प्राप्त दस्तावेजों के अनुसार शासन ने मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी की सहमति के बाद प्रकरण की जांच जनपद स्तर पर किसी राजपत्रित अधिकारी के पर्यवेक्षण में कराने के लिए पुलिस महानिदेशक को निर्देशित करने का निर्णय लिया था।

इस क्रम में गृह विभाग की विशेष सचिव रिद्धिम अग्रवाल ने 12 अक्टूबर, 2023 को पुलिस महानिदेशक को पत्र लिख कर प्रकरण की जांच के आदेश दिए। पुलिस मुख्यालय से इसकी जांच चमोली पुलिस को सौंपी गयी।

उन्होंने कहा कि पुलिस द्वारा जांच आख्या शासन में भेजे जाने के लम्बे समय बाद इस वर्ष अप्रैल माह में गृह विभाग ने अग्रिम कार्रवाई करने के बजाय यह पत्रावली धर्मस्व व संस्कृति विभाग के सचिव को यह कह कर प्रेषित कर दी की नियमानुसार कार्यवाही करें। धर्मस्व व संस्कृति विभाग ने भी तीन माह से अधिक समय तक फाइल को अपने पास रोके रखा और 19 जुलाई को पत्रावली गृह विभाग को वापस भेज दी।

उन्होंने बताया कि गृह सचिव शैलेश बगोली को लिखे पत्र में सचिव, धर्मस्व हरिचंद्र सेमवाल ने कहा कि सीएम हेल्पलाइन पोर्टल पर दर्ज की गयी शिकायत के आधार पर आशुतोष डिमरी के विरुद्ध मंदिर निधि की हानि एवं दुरूपयोग किए जाने के आरोपों की जांच पुलिस (गृह विभाग) द्वारा सम्पादित की गयी है एवं आरोपों की पुष्टि भी की गयी है। चूंकि जांच व आरोपों की पुष्टि पुलिस विभाग के स्तर पर की गयी है। अतः उपरोक्त के क्रम में प्रश्नगत प्रकरण में जांचोपरांत नियमानुसार दोषी व्यक्तियों के विरुद्ध विधि सम्मत कार्यवाही करने का कष्ट करें।

खत्री ने कहा कि गृह सचिव को 19 जुलाई को पत्रावली भेजे जाने के बाद अब करीब दो माह का समय व्यतीत हो चुका है। लेकिन गृह विभाग के स्तर से अभी तक इस मामले में किसी प्रकार की कार्यवाही होते नहीं दिख रही है। इस कारण शासन की मंशा पर कई सवाल खड़े हो रहे हैं। उन्होंने कहा कि यह विडंबना ही कही जाएगी कि करोड़ों-करोड़ों हिन्दुओं की आस्था व श्रद्धा के केंद्र बद्रीनाथ व केदारनाथ धाम भी भ्रष्टाचार की आंच से अछूते नहीं हैं। उन्होंने कहा कि यदि मामले में कोई कार्रवाई नहीं हुयी तो भैरव सेना आंदोलन करने के साथ ही कोर्ट का रुख भी करेगी।

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