क्राइम

केवल 32 प्रतिशत गंभीर अपराध के मुकदमों में सजा हुयी अपराधियों को

–uttarakhandhimalaya.in —
काशीपुर, 1 जून। वर्ष 2022 में उधमसिंह नगर के फौजदारी न्यायालयों ने कुल 6202 मुकदमोें का फैसला किया हैै तथा भारतीय दंड संहिता के गंभीर अपराधों (सत्र न्यायालय) वाले मुकदमोें में 32 प्रतिशत 62 मुकदमों में सजायेें हुई हैै जबकि 122 मुकदमोें में रिहाई हुई हैै।
काशीपुर निवासी सूचना अधिकार कार्यकर्ता नदीम उद्दीन (एडवोकेट) को आरटीआइ के तहत उपलब्ध सूचना के अनुसार वर्ष 2022 में भारतीय दंड संहिता के सत्र न्यायालय में विचारण योग्य गंभीर मुकदमोें (हत्या, लूट, डकैती, बलात्कार आदि) के 195 मुकदमें निर्णीत हुये जिसमें 63 मुकदमों में सजा हुई है जबकि 122 मुकदमों में रिहाई हुई हैै अर्थात अभियोजन व पुलिस अपराध के साबित करनेे में सफल नहीं हुये हैैं। इस अवधि में 10 ऐसे मुकदमें क्वैश/दाखिल दफ्तर भी हुये हैै। सजा का प्रतिशत 32 प्रतिशत है।

अन्य अधिनियमोें के अन्तर्गत सत्र न्यायालय द्वारा विचारणीय गंभीर मुकदमोें में सजा का प्रतिशत 74 है। 2022 में ऐसे 516 मुकदमें निर्णीत हुये है जिसमें 380 मुकदमोें में सजा हुई हैै तथा 95 मुकदमोें में अपराध साबित नहीं हुये है व रिहाई हुई है। ऐसे 41 मामले दाखिल दफ्तर/क्वैैश हुये हैै।

नदीम को उपलब्ध सूचना के अनुसार वर्ष 2022 में अधीनस्थ न्यायालयोें (मजिस्ट्रेटोें आदि के न्यायालयोें) में निर्णीत भारतीय दंड संहिता केे अपराधों केे कुल निर्णीत 1425 मामलों में से 462 मामलों में सजा हुई है जबकि 160 मामलोें में रिहाई हुई है। इस अवधि में 400 मुकदमों में राजीनामा हुआ है तथा 06 मुकदमें शासन द्वारा वापस भी हुये है। इस अवधि में 248 ऐसे मुकदमें दाखिल दफ्तर/क्वैश भी हुयें हैं। सजा का प्रतिशत 32 है।

अन्य अधिनियम के अन्तर्गत अधीनस्थ न्यायालयोें द्वारा विचारणीय कुल 4066 निर्णीत मुकदमोें में 3115 मामलों में सजा हुई है जबकि 133 मामलोें में रिहाई हुई हैैं। सजा वाले मामलों में मोटर वाहन अधिनियम सहित अन्य अधिनियम के चालान व जुर्माने के मामले भी शामिल होते हैं। इस अवधि में 811 मामले दाखिल दफ्तर/क्वैश भी हुये है। सजा का प्रतिशत 77 है।

नदीम कोे उपलब्ध विवरण केे अनुसार 2022 के प्र्रारंभ में जिला उधमसिंह नगर के सत्र न्यायालयों में भारतीय दण्ड संहिता के अपराधों के 1079 मुकदमें लम्बित थे जोे वर्ष के अन्त में कम होकर 1031 रह गये जबकि इस अवधि में 147 नये मामले दायर हुये हैं।

अन्य अधिनियमों के वर्ष के प्रारंभ में 1415 मामले लम्बित थे जो वर्ष के अन्त में बढ़कर 1609 हो गये जबकि वर्ष में ऐसे 710 नये मुकदमें दायर हुये है। 2022 केे प्रारंभ में जिले के अधीनस्थ न्यायालयों में भारतीय दंड संहिता के अपराधों के कुल 8653 मुकदमें लम्बित थे जो वर्ष के अंत में बढ़कर 9956 होे गये जबकि इस अवधि में 2728 नये मुकदमें दायर हुये हैं।
अन्य अधिनियमोें के अधीनस्थ न्यायालयों में लम्बित मामलों की संख्या 2022 के प्र्रारंभ में 9066 थी जो 2022 के अन्त में बढ़कर 17946 होे गयी हैै। इस अवधि में ऐेसे 12946 नये मुकदमें दायर हुये है।

 

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