कोटद्वार नगर निगम में सरकारी धन के गबन के मामले में पुलिस ने किया दो को गिरफ्तार
96 लाख रूपए से अधिक का है घोटाला : लंबे समय से चल रहे थे फरार
—कोटद्वार से राजेंद्र शिवाली —
पुलिस ने अंततः कोटद्वार नगर निगम में 96 लाख से अधिक के गबनकर्ताओं को गिरफ्तार करने में सफलता हासिल कर ही ली। अभियुक्त लम्बे समय से फरार चल रहे थे।
कोटद्वार ओलिस के अनुसार गत वर्ष 31 जुलाई को तत्कालीन नगर आयुक्त किशन सिंह नेगी ने कोटद्वार कोतवाली में रिपोर्ट दर्ज कराई कि अभियुक्तगण वरिष्ठ सहायक नगर निगम पंकज रावत. अहसान अहमद. नीरज रावत. राजपाल सिंह. सुमिता देवी. और रमेश चन्द्र चौधरी द्वारा नगर निगम कोटद्वार के खातों से अवैध रूप से धन निकासी कर 96,34,860/- रुपए का गबन किया है। रिपोर्ट के आधार पर कोतवाली पुलिस ने विभिन्न धाराओं में मुकदमा दर्ज कर विवेचना निरीक्षक मौ० अकरम के सुपुर्द की गई। विवेचना के दोरान अभियोग उपरोक्त में धारा 7A/13 भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम की बढोत्तरी कर विवेचना पुलिस उपाधीक्षक ऑपरेशन विभव सैनी के सुपुर्द की गई। अभियोग में अभियुक्त सुमिता देवी व अभियुक्त कुलदीप को 8 अगस्त एवं अभियुक्त पंकज को 14 दिसंबर को पूर्व में गिरफ्तार कर जेल भेज दिया गया है। अभियुक्त अहसान व नीरज रावत फरार चल रहे थे।
चूँकि प्रकरण सरकारी धन के गबन से सम्बन्धित था। अभियुक्तों की गिरफ्तारी पुलिस के लिये एक चुनौती बनी हुई थी। वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक श्रीमती श्वेता चौबे द्वारा प्रकरण की संवेदनशीलता के दृष्टिगत एक पुलिस टीम गठित करते हुये अभियुक्त अहसान व नीरज रावत की शीघ्र गिरफ्तारी करने हेतु निर्देशित किया गया। गठित पुलिस टीम द्वारा सर्विलान्स की मदद से आज आमपडाव निवासी अभियुक्त अहसान व देवी रोड निवासी नीरज रावत को गिरफ्तार कर न्यायालय के समक्ष पेश कर न्यायालय के आदेश पर जेल भेज दिया गया है।